झांसी- साइबर क्राइम के विरुद्ध किया जागरूक – साइबर क्राइम पर सेमिनार में छात्र – छात्राओं को साइबर अपराधों से सतर्क रहने और हेल्पलाइन के बारे में बताया स्टूडेंट्स को बताया कि साइबर अपराध में बचाव ही सबसे बड़ा कदम है।
प्रधानाचार्या श्रीमती अंशिता विश्वनाथन ने कहा कि साइबर अपराध ने कई लोगों के जीवन को प्रभावित किया है और साइबर अपराध करने वाले लोगों को हैकर के रूप में जाना जाता है। ऐसे लोग क्रेडिट या डेबिट कार्ड और बैंक डिटेल लेते हैं और उसके बारे में सारी जानकारी हासिल कर लेते हैं और आपके के बैंक खाते से पूरी रकम निकाल कर खाली कर देते हैं।
साइबर क्राइम पर व्याख्यान यूपी पुलिस के अधिकारियों झाँसी साइबर क्राइम थाना से आये SI कुलदीप कुमार, SI अजीत सिंह एवं शिवशंकर सिंह ने : छात्र – छात्राओं को साइबर अपराधों से सतर्क रहने और हेल्पलाइन के बारे में बताया स्टूडेंट्स को बताया कि साइबर अपराध में बचाव ही सबसे बड़ा कदम है। उन्होंने ऋण धोखाधड़ी, बैंक खातों की अवैध जानकारी के आदान-प्रदान, सोशल मीडिया खातों और उनके उपयोग की सुरक्षा कैसे करें आदि जैसे अपराधों के बारे में जागरूकता पैदा की। अब देश में सब कुछ आनलाइन होता है। आज कल हर कोई डिजिटल बैंकिग का फायदा उठा रहा है। पैसे का लेन-देन, दुकानदार के खाते, बिजली या अन्य बिलों का भुगतान हमारे फोन के माध्यम से किया जाता है। यह नेटवर्क की सुरक्षा के लिए साइबर सुरक्षा सेवाओं के माध्यम से किया जाना चाहिए। एंटीवायरस का इस्तेमाल हमें इन हमलों से भी बचा सकता है। साइबर सुरक्षा आपके इंटरनेट डेटा की सुरक्षा है। लोगों को नेटवर्क सुरक्षा, एप्लिकेशन सुरक्षा, डेटा सुरक्षा और मोबाइल सुरक्षा के बारे में पूरी जानकारी होनी चाहिए।
इस दौरान स्टूडेंट्स ने साइबर क्राइम से बचने के तरीके भी सीखे। स्टूडेंट्स को सोशल मीडिया से लेकर बैंकिंग तक में होने वाली साइबर ठगी और उससे बचने के बारे में बताया। स्टूडेंट्स को सोशल मीडिया और इंटरनेट बैंकिंग इस्तेमाल करते वक्त उन्हें अलर्ट रहने की बात बताई गई, ताकि वे खुद ही जागरूक हों और साइबर अपराध से बच सकें। ज्यादातर लोग मॉल और अन्य जगहों पर जाते है। वहां कुछ लोग फॉर्म भरवाते है। अधिकतर लोग बिना सोचे समझे फॉर्म भर देते है। साइबर ठग इस तरह भी आपको निशाना बना सकते हैं। इसके लिए अनजान लोगों को कभी भी अपनी जरूरी डिटेल न दें। उन्होंने स्टूडेंट्स को समझाते हुए कहा कि सोशल मीडिया पर अपनी फोटो डालने से बचें। किसी भी अनजान लिंक को नहीं खोले। पूरी तरह वेरिफाई करने के बाद ही किसी से ऑनलाइन दोस्ती करें। अपने दिमाग में हमेशा इस बात को रखें कि कहीं आप साइबर क्राइम का शिकार तो नहीं हो रहे हैं। ऐसा करने से आप हर काम को काफी सोच-समझकर करेंगे और सावधान रहेंगे। कार्यक्रम का संचालन प्रबंधक अनिल पाण्डेय ने किया
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