राज्यपाल ने दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय, गोरखपुर के नैक हेतु प्रस्तुतिकरण की समीक्षा की
मूल्यांकन के हर बिन्दु पर सुदृढ़ तैयारी करें
प्रस्तुतिकरण में हाइपर लिंक कनेक्टिविटी सुदृढ़ करें
क्राइटेरिया वाइज गठित टीम एक साथ बैठकर तैयारी करे
आपसी सहयोग, बेहतर तालमेल और सुदृढ़ टीम की भावना के साथ कार्य करें
कुलपति को कार्य प्रगति की सम्पूर्ण जानकारी से अवगत रखें
विद्यार्थियों के हित में उच्च नैक ग्रेडिंग प्राप्त करने के लिए प्रयास करें
उत्तर प्रदेश की राज्यपाल एवं कुलाधिपति श्रीमती आनंदीबेन पटेल ने आज यहां राजभवन स्थित प्रज्ञाकक्ष में दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय, गोरखपुर के नैक ग्रेडिंग हेतु तैयार प्रस्तुतिकरण की समीक्षा की। विश्वविद्यालय इससे पूर्व वर्ष 2005 में नैक का “बी़+” ग्रेड प्राप्त कर चुका है और अब दूसरी बार मूल्यांकन के लिए अपनी “सेल्फ स्टडी रिपोर्ट” (एस.एस.आर.) दाखिल करने की तैयारी कर रहा है।
राज्यपाल जी ने बैठक में विश्वविद्यालय द्वारा नैक मूल्यांकन की तैयारियों के लिए गठित कमेटी के सदस्यों से सभी सातों मूल्यांकन क्राइटेरिया पर बिन्दुवार जानकारी ली। उन्होंने कुलपति को निर्देश दिया कि मूल्यांकन के हर बिन्दु पर सुदृढ़ तैयारी की जाए और प्रस्तुतिकरण में उल्लिखित कार्यों के विवरण एवं डाटा के हाइपर लिंक को भी सुदृढ़ किया जाए जिससे कार्यों के प्रस्तुतिकरण के समय पर ही प्रमाण का अवलोकन भी किया जा सके।
प्रस्तुतिकरण के समय राज्यपाल जी ने टीम में आपस में विवरण की जानकारी, डाटा साझा करने की प्रवृत्ति के अभाव को भी लक्षित किया। उन्होंने निर्देश दिया कि क्राइटेरिया वाइज गठित पूरी टीम एक साथ बैठकर कार्य करे, संयुक्त तैयारी करें, आपस में तालमेल और सहयोग की भावना रखें। उन्होंने कहा कुलपति स्वयं टीम के साथ बैठकर समीक्षा करें और टीम के सभी सदस्य कुलपति को कार्य प्रगति की सम्पूर्ण जानकारी से अवगत रखें, जिससे पियर टीम के भ्रमण के समय प्रस्तुतिकरण के दौरान किसी अनभिज्ञता का प्रदर्शन न हो।
राज्यपाल जी ने टीम के सदस्यों को पूर्वाग्रहों से बाहर आकर अपने कार्य का दायरा बढ़ाने, विद्यार्थियों की समस्याओं का समाधान प्राथमिकता से करने, सभी अध्यापकों एवं कुलपति को विद्यार्थियों के मध्य सुगम समागम, विचरण और विचार-विनिमय रखने, शोध कार्यों को जनहित में उपयोगी बनाने, जनसेवकों के व्याख्यान विश्वविद्यालय परिसर में आयोजित कराने, प्रदेश के विकास में सहयोगी प्रोजेक्ट कार्य करवाने, विश्वविद्यालय प्रबन्धन में कार्य सुगमता के लिए वित्तीय अधिकारों का समुचित सीमा तक विकेन्द्रीकरण करने जैसे मुद्दों पर विशेष चर्चा करते हुए आवश्यक सुधारों से अवगत कराया। उन्होंने कहा टीम के सभी सदस्य अपने प्रस्तुतिकरण का पुनरावलोकन करें और प्रत्येक बिन्दु को सशक्त करें।
राज्यपाल जी ने समीक्षा के दौरान कहा कि नैक ग्रेडिंग से विद्यार्थियों का हित जुड़ा है, इसलिए अपने शिक्षक होने के दायित्व को समझें और विद्यार्थियों के हित में बेहतर नैक मूल्यांकन कराने के लिए सशक्त तैयारी के साथ एस.एस.आर. दाखिल करें। उन्होंने विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो0 राजेश सिंह को निर्देश दिया कि एस.एस.आर. दाखिल करने पूर्व, अपने अभी के नैक मूल्यांकन में “ए़़++” ग्रेड प्राप्त करने वाले लखनऊ विश्वविद्यालय, लखनऊ के कुलपति से पियर टीम भ्रमण तथा एस.एस.आर. दाखिल करने के अनुभवों को साझा कर लें और एक सशक्त आवेदन के साथ मूल्यांकन के लिए अग्रसर हों।
बैठक में राज्यमंत्री उच्च शिक्षा रजनी तिवारी, अपर मुख्य सचिव राज्यपाल श्री महेश कुमार गुप्ता, विशेषकार्याधिकारी शिक्षा, विश्वविद्यालय द्वारा नैक मूल्यांकन तैयारी के लिए गठित टीम के सदस्य तथा अन्य अधिकारीगण उपस्थित